माननीय विशेष न्यायाधीश (पोक्सो), जिला मण्डी, हिमाचल प्रदेश, की अदालत ने नाबालिग का पीछा करने और मारपीट के दोषी को विभिन्न धाराओं में कारावास के साथ जुर्माने की सजा सुनाई। जिला न्यायवादी, मण्डी कुलभूषण गौतम ने बताया कि 23 दिसंबर 2021 को पीड़िता (16 वर्ष) ने पुलिस थाना बल्ह में रिपोर्ट दर्ज करवाई थी कि वह एक स्कूली छात्रा है और घर से स्कूल के लिए पैदल जाती है।
22 दिसंबर 2021 को जब पीडिता स्कूल पहुंची तो स्कूल खुलने से पहले विशाल पुत्र रणजीत सिंह, गांव डुंगराई ने पीड़िता को एक अन्य लड़की के साथ संदेश देकर स्कूल के बाहर बुलाया पर पीड़िता स्कूल से बाहर नहीं गई। उसके बाद 23 दिसंबर को 2021 जब पीडिता 8ः40 पर स्कूल पहुंची तो विशाल ने पीड़िता को फिर उसी लड़की के माध्यम से स्कूल के बाहर बुलाया और उसके कहने पर पीड़िता अपनी सहेली के साथ स्कूल के गेट के पास गयी जहां पर दोषी पहले से ही खड़ा था जिसने कि पीड़िता को गले से पकड़ कर थप्पड़ मारा, तभी पीड़िता की सहेली ने स्कूल के अंदर से किसी अध्यापक को बुलाया।
अध्यापक को आता देख दोषी ने पीड़िता को दो-तीन और थप्पड़ मारे और वहां से भाग गया। पीड़िता ने यह भी बताया कि उक्त दोषी उसको इससे पहले भी तंग करता था और अकेली देखकर पीछे से ऊँचे स्वर में आवाजें लगता था। पीड़िता के उक्त बयान के आधार पर पुलिस थाना बल्ह में दोषी के खिलाफ अभियोग 421-21 दर्ज हुआ था। इस मामले की छानबीन सहायक उप निरीक्षक लाल चंद, ने अमल में लायी थी, छानबीन पूरी होने पर थानाधिकारी बल्ह द्वारा मामले के चालान को अदालत में दायर किया था।
उक्त मामले में अभियोजन पक्ष ने अदालत में 12 गवाहों के ब्यान कलम बन्द करवाए थे। मामले में सरकार की तरफ से मामले की पैरवी तत्कालीन विशेष लोक अभियोजक, विनोद चौधरी और लोक अभियोजक नवीन राही द्वारा की गयीस अभियोजन एवं बचाव पक्षों की दलीलें सुनने के बाद अदालत ने दोषी विशाल को भारतीय दण्ड सहिंता की धारा 354के तहत 3 वर्ष के साधारण कारावास की सजा के साथ 5,000 रूपए- के जुर्माने की सजा सुनाई। जुर्माना अदा न करने की सूरत में अदालत ने दोषी को 15 दिन 3 माह के अतिरिक्त कारावास की सजा भी सुनाई। सभी सजाएं साथ साथ चलेंगी।