➤ अक्षय राणा 39 वर्ष की युवा आयु में भारतीय सेना में कर्नल बने
➤ वह हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिले के नगरोटा के रहने वाले हैं
➤ उनकी सफलता दृढ़ संकल्प, अनुशासन और समर्पण का उत्कृष्ट उदाहरण
नगरोटा बगवां: हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिले के नगरोटा के रहने वाले अक्षय राणा ने भारतीय सेना में कर्नल का पद प्राप्त कर एक बेहतरीन उपलब्धि हासिल की है। मात्र 39 वर्ष की आयु में यह पद प्राप्त करना उनके दृढ़ संकल्प, अनुशासन और समर्पण का एक ज्वलंत उदाहरण है। कर्नल अक्षय राणा, ओम प्रकाश राणा के पुत्र हैं। उनकी इस उपलब्धि से उनका परिवार और पूरा समुदाय अत्यंत हर्षित और गौरवान्वित महसूस कर रहा है।
कर्नल अक्षय राणा ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा की नींव कांगड़ा के डीएवी पब्लिक स्कूल में रखी। इसके बाद, उन्होंने बद्दी विश्वविद्यालय से बी.टेक की डिग्री हासिल की, जहाँ उन्होंने शैक्षणिक और नेतृत्व दोनों क्षेत्रों में उत्कृष्ट प्रदर्शन किया। भारतीय सेना में शामिल होने से पहले, अक्षय राणा ने एक बहुराष्ट्रीय कंपनी (MNC) में चार वर्षों से अधिक का व्यावसायिक और प्रबंधकीय अनुभव प्राप्त किया था, जिसने उनके करियर में महत्वपूर्ण कॉर्पोरेट मूल्य जोड़े।
राष्ट्र सेवा के प्रति एक अटूट जुनून से प्रेरित होकर, अक्षय राणा ने देश की सबसे कठिन और प्रतिष्ठित भर्ती प्रक्रियाओं में से एक, सर्विसेज सिलेक्शन बोर्ड (एसएसबी) परीक्षा को सफलतापूर्वक पास किया और भारतीय सेना में शामिल हुए। अपनी इस शानदार सफलता का श्रेय कर्नल राणा ने अपने माता-पिता, परिवार और शिक्षकों के बिना शर्त समर्थन, बलिदान और निरंतर प्रोत्साहन को दिया, जिन्होंने उनके करियर और उपलब्धियों को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनका जीवन उन सभी युवाओं के लिए एक प्रेरणास्रोत है जो सेना में शामिल होकर देश की सेवा करना चाहते हैं।



