भाजपा प्रदेश महामंत्री एवं सुंदरनगर से विधायक राकेश जमवाल ने कहा कि कांग्रेस पार्टी के शीर्ष नेतृत्व ने अपने युवा मंत्री विक्रमादित्य के ऊपर दबाव बनाकर अपने दिए गए बयान और विचारों से यू-टर्न लेने पर मजबूर किया है।
हिमाचल प्रदेश के युवा मंत्री लगातार सोशल मीडिया और मीडिया में अपने विचार व्यक्त कर रहे थे और केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तावित यूसीसी को लेकर अपना समर्थन दर्ज कर रहे थे। हैरानी की बात है कि कल वह युवा मंत्री एक प्रेस वार्ता बुलाते हैं और अपने बयान से यू टर्न ले लेते हैं.
इससे स्पष्ट होता है कि कांग्रेस पार्टी के आलाकमान नेता अपने युवा नेतृत्व के विचारों का गला घोटने का प्रयास कर रही है। कांग्रेस की बहुत पुरानी आदत है कि फूट डालो और राजनीति करो, इसका प्रत्यक्ष आज से नहीं है 1947 से है जब भारत आजाद हुआ था।
डिवाइड एंड रूल की पॉलिसी पर कांग्रेस नेता आज से नहीं भारत की आजादी से लेकर खेल रहे हैं, अल्पसंख्यक के वोट बटोरने के लिए इस प्रकार के हथकंडे कांग्रेस पार्टी निरंतर अपनाती है। इसके कई उदाहरण भारत के इतिहास में हमने देखे भी है और जनता जानती भी है।
कांग्रेस पार्टी वोट के लालच में वस्तुस्तीथ से भागने का कार्य करती है और जिस प्रकार का वातावरण भारत में बन रहा है उससे स्पष्ट है कि कांग्रेश पार्टी विशेष अनुमति प्रदान कर विशेष समुदाय को एकत्र करने का प्रयास कर रही है। जिससे भारत का भविष्य अंधकार की ओर बढ़ता दिखाई दे रहा है, ऐसा तो नहीं कि कांग्रेस पार्टी के नेता भारत के भविष्य को अंधकार की ओर धकेल रहे हैं।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेताओं द्वारा भारतीय जनता पार्टी पर जितने भी आरोप लगाए जा रहे हैं वह निराधार है । भाजपा के किसी भी नेता ने ऐसा प्रयास नहीं किया जिससे हिमाचल प्रदेश में राजनीतिक माहौल खराब हो।
विपक्ष का तो कार्य है कि वह वर्तमान सरकार की नाकामियों को जनता के समक्ष लाएं, अगर उससे भी सत्तारूढ़ नेता परेशान है तो हम कुछ नहीं कर सकते। विपक्ष निरंतर अपना काम करता रहेगा और विपक्ष की आवाज दबाने का प्रयास कांग्रेस पार्टी हिमाचल प्रदेश में ना करें।