जलवायु परिवर्तन के कारण हिमाचल में भी गलेशियर पिघल रहे हैं। खतरे को देखते हुए हिमाचल सरकार चार ग्लेशियर का अध्ययन करने के लिए जुलाई में एक टीम भेजेगी। यह बात आज शिमला में हिमाचल के मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना ने विश्व पर्यावरण दिवस के मौके पर आयोजित कार्यक्रम के दौरान कही।
मुख्य सचिव ने कहा कि जलवायु परिवर्तन हिमाचल की दहलीज पर पहुंच गया है। ग्लेशियर के फटने के खतरे को देखते हुए जुलाई में सरकार टीम भेजेगी। उन्होंने कहा कि सिक्किम में ग्लेशियर फटने से भयानक तबाही हुई है। ऐसे ही खतरे का देखते हुए भारत सरकार के साथ मिलकर चार या पांच ग्लेशियर को चिन्हित किया गया है जिनका अध्ययन किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि पर्यावरण दिवस पर स्कूली बच्चों ने अनेक कार्यक्रम आयोजित किए हैं। पर्यावरण के सरक्षण के लिए कई वर्षों से काम करने वाली संस्थाओं को सम्मानित किया गया हैं। वन्ही प्रदेश के जंगलों में लग रही आग को लेकर मुख्य सचिव ने कहा कि आग लोगों की लापरवाही से लग रही हैं। कई स्थानों पर शरारती तत्व भी आग लगाने का काम कर रहे हैं। लोगों के सहयोग के बिना आग को बुझाना संभव नहीं हैं। मौसम के बेहतर होने से आग की घटनाओं में कमी आएगी।
Dhrobia village Development: कांगड़ा विधानसभा क्षेत्र के चंगर क्षेत्र में विकास की एक नई कहानी…
High Court decision Himachal hotels: हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट से राज्य सरकार और पर्यटन विकास निगम…
NCC Day Dharamshala College: धर्मशाला स्थित राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय (जीपीजीसी) में एनसीसी दिवस के उपलक्ष्य…
Kunzum Pass closed: हिमाचल प्रदेश के लाहौल और स्पीति जिले को जोड़ने वाला कुंजम दर्रा…
Rahul Gandhi in Shimla: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और केंद्र में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी…
Mother murders children in Noida: उत्तर प्रदेश के गौतमबुद्ध नगर जिले के बादलपुर थाना क्षेत्र…