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लाहौल-स्पीति: सगनम गांव में स्नो फेस्टिवल का आयोजन, रामलाल मार्कंड़य ने की बतौर मुख्यातिथि शिरकत

<p>स्नो फेस्टिवल के तहत स्पीति&nbsp;के &nbsp;सगनम में कार्यक्रम का आयोजन शनिवार को किया गया। इस मौके पर जन शिकायत, जनजातीय विकास, तकनीकी शिक्षा, एवम् सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री डॉ राम लाल मार्कंड़य ने बतौर मुख्यातिथि शिरकत की। उन्होंने दीप प्रज्वलित करके कार्यक्रम का शुभारंभ किया। उन्होंने कहा स्मो फेस्टिवल का उद्देश्य लाहुल स्पीति&nbsp;के संस्कृति को पर्यटन का हिस्सा बनाना। ताकि हमारे लोगों को रोज़गार भी मिले और आर्थिकी भी मजबूत हो। छंगफुत, लोसर, छंका, बूचेन,&nbsp;दाछंग, नमगेन त्यौहार यहां मनाए जाते है। हर वर्ष इसी तरह स्नो फेस्टिवल आयोजित किया जाएगा। यहां के लोगों ने कम समय काफी बेहतरीन कार्यक्रम आयोजित किया । यहां की प्रदर्शनी में हर वस्तु आकर्षित लगी पर्यटक यही सब देखना चाहते हैं।लोगों को सह भगिता के बिना कार्यक्रम सफल करना मुश्किल होता है । स्नो फेस्टिवल स्थानीय लोगों का फेस्टिवल है।&nbsp;</p>

<p><strong><span style=”color:#e74c3c”>लाहौल और स्पीति&nbsp;में हर गांव इस फेस्टिवल में हिस्सा ले रहे हैं</span></strong></p>

<p>स्पिती में आइस हॉकी का प्रयास दो साल पहले किया गया था। इस बार हमारे स्पिती की लड़कियों ने ब्रॉन्ज मैडल राष्ट्रीय स्तर पर पहली बार आइस हॉकी में लाया है।इस मौके पर उन्होंने कहा कि अतरगु भावा मुद जल्द शुरू करवाया जाएगा। कुंगरी गोंपा में 3.50 करोड़ रुपया दिया जा चुका हैं। तेलिंग मूद के बीच पुल का निर्माण करवाया जाएगा।राज व मिनसर गांव वालों की सड़क इस वर्ष बनाया जाएगा। पिन घाटी में आइस रिंक तैयार किया जाएगा ताकि यहां के बच्चे खिलाड़ी बन सकें। कार्यक्रम में एडीएम ज्ञान सागर नेगी ने स्नो फेस्टिवल के तहत हो रही विभिन्न गतिविधियों को जानकारी रखी।</p>

<p><span style=”color:#e74c3c”><strong>ये कार्यक्रम किए गए पेश</strong></span></p>

<p>गुलिंग गांव के कलाकारों ने हाथी नृत्य , कुंगरी गांव ने टशी नृत्य, तेलिंग गांव ने डेकर, &nbsp;सगनम गांव ने खर नृत्य, अप्पर गुलिग गांव ने दा ट्यू नृत्य,भर गांव ने टासोर नृत्य, राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय सगनम के छात्रों ने फैशन शो और लोक नृत्य प्रस्तुत किया। शोन नृत्य वाईएमसी खर और मुद गांव ने लोक &nbsp;नृत्य प्रस्तुत किया।</p>

<p><span style=”color:#c0392b”><strong>प्रदर्शनी रही आकर्षण का केंद्र</strong></span></p>

<p>तीरंदाजी , पारम्परिक वस्तुओं की &nbsp;प्रदर्शनी आयोजित की । प्रदर्शनी में याक की ऊन से गलीचे, बोरिया बनाने की विधि दिखाई गई। छोलो खेल की प्रतियोगिता भी प्रदर्शित की।कई वर्ष पुराने पत्थर के बर्तन इस दौरान आकर्षण का केंद्र रहे। लकड़ी से हल , कृषि औजार भी बनाना स्टाल में दिखाया गया। ऊन से पुराने समय में महिलाएं कपड़े कैसे बनाती थी वो प्रदर्शनी का अहम हिस्सा रहा।इसके अलावा, बुचेन डांस के कलाकारों ने अपना स्टाल लगाया था।</p>

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