हिमाचल के 250 से ज्यादा सरकारी कार्यालय चल रहे किराए के भवनों में, करोड़ों किया जा रहा खर्च, जबकि 1143 सरकारी भवन बन रहे खंडहर, मुख्यमंत्री ने कमेटी बनाने के दिए आदेश.
हिमाचल प्रदेश में 43 विभागों व उपायुक्तो के अधीन कार्यालय निज़ी भवनों में चलाए जा रहे हैं. जिन पर करोड़ों रुपया खर्च किया जा रहा है. जबकि 1143 सरकारी भवन खाली पड़े हैं जो खण्डर हो रहें है. ये सवाल BJP ज्वालामुखी के विधायक रमेश धवाला ने मुख्यमंत्री से पूछा और किराए के नाम पर की जा रही फजुल खर्ची पर अंकुश लगाने की मांग उठाई.
मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने इस सवाल को गंभीर बताया और जबाब में कहा की सरकार खाली पड़े भवनों में सरकारी दफ्तर शिफ्ट करेगी. जिसके लिए मुख्यमंत्री ने एक कमेटी गठन करने का आदेश दिया. उद्योग विभाग को क्यों खाली करवाने के अनपुरक सवाल पर मुख्यमंत्री ने बताया कि उच्च न्यायालय ने विनती की थी ये भवन उनको दिए जाए इसलिए उधोग भवन को खाली करवाया जा रहा है.
हिमाचल में आयुष विभाग- 4,176,812 सालाना, कृषि विभाग-4,826,52 , भाषा एवम संस्कृति विभाग-15,952, सूचना एवम जन संपर्क विभाग-431,291, राजस्व विभाग-2,351,988, अभियोजन विभाग-280,728, तकनीकी शिक्षा विभाग- 98,505 अग्निशमन विभाग-3,473,860, नगर एवम ग्राम योजना-971,008, पुलिस विभाग- 4,671,104, निदेशक गृह रक्षा एवम नागरिक सुरक्षा-2,250,167, राज्य स्तृकता एवम भ्रस्टाचार रोधी- 497,568, जैसे 43 ऐसे विभाग हैं जिनके भवन करोडों के किराए के भवनों में चल रहे है. लगभग 250 ऐसे सरकारी कार्यालय हैं निज़ी किराए के भवनों में चल रहे हैं.