जयसिंहपुर के हलेड गांव में क्रशर लगाने का विरोध थमने का नाम ही नहीं ले रहा है। जिसके चलते सोमवार को 100 के लगभग ग्रामीण एसडीएम कार्यालय पहुंचे और हलेड में लगने वाले क्रशर का भारी विरोध किया। ग्रामीणों ने एसडीएम की अनुपस्थिति में नायब तहसीलदार नरेश कुमार को ज्ञापन सौंपा। विरोध जता रहे लोगों ने एसडीएम को 10 दिन के अंदर क्रशर की अनुमति को निरस्त करने का ज्ञापन सौंपा और तय सीमा के अंदर क्रशर की कारवाई को निरस्त न करने की सूरत में भूख हड़ताल पर बैठने और न्यायालय का दरवाजा खटखटाने की बात कही।
बता दें कि उपमंडल जयसिंहपुर में पहले से ही लगभग आधा दर्जन स्टोन क्रशर लगे हुए हैं और समय-समय पर जनता ने उन्हें बंद करवाने के लिए आन्दोलन और अनशन तक किया। अब हलेड में एक और नया क्रशर लगाने की प्रसासन में जबरदस्ती की कवायद लोगों को बिना विश्वास में लिए जोरों से शुरू कर दी है। जिसके विरोध में हलेड ही नहीं आसपास के गांव के लोग भी लामबंद हो शुरू हो गए हैं। जिन्होंने 12 जुलाई को संयुक्त निरिक्षण के लिए एसडीएम की अगुवाई में आई टीम का विरोध किया था और विधायक के खिलाफ नारेबाजी तक कर दी थी। उस समय भी प्रशासनिक अधिकारी ने लोगों पर क्रशर खुलवाने का दवाव बनाया था।
जिसकी खबर प्रकाशित होने पर खैर कुछ समय मामला शांत हो गया था लेकिन, एक बार फिर क्रशर का जिन्न बोतल से बाहर निकल आया है और क्रशर के रूप में लोगों को डराने लगा है। शुक्रवार को एसडीएम अश्वनी सूद विभागीय टीमों के साथ लगती ज़मीनों के मालिकों को बिना विश्वास में लिए संयुक्त निरिक्षण के लिए साथ आ पहुंचे।
जिसका ग्रामीणों को पता चलने पर उन्होंने मौके पर पहुच अपनी हरी भरी ज़मीन बचाने के लिए भारी विरोध जताया। आपको बता दें कि यह वही भूमि है जिसको बचाने के लिए एक बार पहले भी भूख हड़ताल का सहारा लेना पड़ा था।