विधानसभा चुनाव जैसे-जैसे नजदीक आ रहे हैं बीजेपी-कांग्रेस नेताओं की गुटबाजी और अंतर्कलह भी बढ़ती जा रही है। पहले तो यह कलह सिर्फ कांग्रेस में नजर आ रही थी, लेकिन अब बीजेपी के दिग्गज नेताओं की अंतर्कलह भी खुलकर सामने आने लगी है। एक तरफ वीरभद्र सिंह और सुखविंद्र सिंह सुक्खू तो दूसरी तरफ जेपी नड्डा और अनुराग ठाकुर की गुटबाजी सियासी गलियारों में हलचल मचाए हुए है।
संगठन में फेरबदल पर अड़े मुख्यमंत्री
हिमाचल कांग्रेस में मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह और प्रदेशाध्यक्ष सुखविंद्र सिंह सुक्खू का आपसी विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। विधायकों की बैठक में सीएम वीरभद्र सिंह ने कहा कि अगर संगठन का यही रवैया रहा तो वह चुनाव नहीं लड़ेंगे। उनके इस बयान ने प्रदेश कांग्रेस पार्टी में भूचाल ला दिया है। कहा जा रहा वीरभद्र सिंह संगठन में फेरबदल की बात पर अड़े हुए हैं। इसके कारण संगठन पर दबाव बढ़ रहा है, हालांकि शिंदे ने अपने दौरे में साफ किया था कि संगठन औऱ सरकार में कोई बदलाव नहीं होगा।
एम्स पर नड्डा-अनुराग आमने-सामने
बीजेपी में भी केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा और सांसद अनुराग ठाकुर एम्स अस्पताल को लेकर आमने-सामने आ गए हैं। अनुराग ठाकुर ने अपने एक बयान में कहा था कि एम्स को बिलासपुर लाने में नड्डा का कोई योगदान नहीं है और न ही इसे यहां से ले जाने में होगा। एम्स हर हाल में हमीरपुर संसदीय क्षेत्र में ही बनेगा। इसके लिए चाहे फिर किसी भी स्तर पर लड़ाई क्यों न लड़नी पड़े।
अनुराग और नड्डा में अंदरखाते क्या चल रहा है यह तो कोई नहीं जानता, लेकिन इन दोनों के अंतर्कलह की एक वजह कैबिनेट में बदलाव भी हो सकता है। पिछले कुछ दिनों में केंद्र बीजेपी अपनी कैबिनेट में बदलाव करने की बात कह रही है और यह अटकलें लगाई जा रही हैं कि अनुराग कैबिनेट में जा सकते हैं और नड्डा के प्रदेश में आने की खबर ने भी बीजेपी में बवाल मचाया हुआ है।
यह देखना रोचक होगा कि अब विधानसभा चुनाव के इतने नजदीक दोनों पार्टियों के नेताओं की इस अंतर्कलह को पार्टी आलाकमान कैसे खत्म करते हैं।