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9 किलो बेंगन में होता है 1 सिगरेट जितना निकोटिन, जानें कुछ शानदार फैक्ट्स…

आज के इंटरनेट और सोशल मीडिया भरे दौर में लोग कई तरह की इन्फॉरमेशन सोशल मीडिया से पढ़ते हैं। इनमें कई तरह ऐसे फैक्ट होते हैं जो कई लोगों को नहीं पता होते। इन फैक्ट्स की वजह से कई दफा इंसान अपने शरीर से लेकर डेली लाइफ में कुछ बदलाव कर सकता है। इससे उन्हें कई फायदे के साथ-साथ नॉलेज भी बढ़ता है। आइये जानते हैं कुछ शानदार फैक्ट्स के बारे में…

  • बेंगन में होता है निकोटिन- 100 ग्राम बेंगन में करीब 0.01 मिलीग्राम निकोटीन मौजूद होता है। यानी 9 किलो बेंगन में एक सिगरेट जिनता निकोटिन होता है। निकोटिन रिप्लेसमेंट थेरेपी के तहत इसमें मौजूद निकोटिन की सीमित मात्रा सिगरेट छोड़ने वाले लोगों के लिए मददगार हो सकती है।
  • सेब का बीज होता है जहरीला- सेब के बीज की बात करें तो इसके बीज में एमिगडेलिन नामक तत्व पाया जाता है। एक स्टडी के अनुसार, यह तत्व पेट के एंजाइम के साथ मिलकर साइनाइड रिलीज करता है। साइनाइड बेहद खतरनाक जहर होता है, जो इंसान की जान लेने में सक्षम है। अगर आप ज्यादा मात्रा में बीज खाते हैं तो ये हानिकारक हो सकता है।
  • गोल्डन फ्रॉग का जहर- गोल्डन पॉइजन फ्रॉग के इतना ज़हर होता है कि वे किसी भी 10 आदमियों की क्षमता रखता है। गोल्डन पॉइजन डार्ट प्रजाति का मेंढक काफी ख़तरनाक है और वैज्ञानिक इसे दुनिया के सबसे जहरीले जीवों में शामिल करते हैं।
  • नारियल गिरने से मौत- हर साल 150 लोगों की मौत सिर पर नारियल गिरने की वजह से होती है। ये मौत का आंकड़ा शार्क अटैक से ज्यादा का है। मान्यता है किभगवान विष्णु के धरती पर आगमन के साथ वे माता महालक्ष्मी के साथ नारियल के वृक्ष को भी लाये थे।
  • कुत्तों के लिए हानिकारक है चॉकलेट- चॉकलेट में एक रसायन थियोब्रोमाइन होता है। यह कैफीन की तरह ही होता है, जो कुत्ते के लिए बहुत नुकसानदेह होता है। इसीलिए चॉकलेट खाने के बाद कुत्ते को बहुत ज्यादा प्यास लग सकती है, पेट खराब हो सकता है, उसके दिल की धड़कन असामान्य हो सकती है, उसे दौरे भी पड़ सकते हैं। खासतौर से डार्क चॉकलेट से कुत्ते की मृत्यु भी हो सकती है।
  • ज्यादातर अंगूर से बनती है शराब- जब अंगूर का उपयोग विशेष रूप से शराब उत्पादन के लिए किया जा रहा है, तो अंगूर के अध्ययन को विटीकल्चर भी कहा जा सकता है। विटीकल्चर और अंगुरात्पादन दोनों ही बागवानी की छत्रछाया में आते हैं। एक विज्ञान और खोज के रूप में विटीकल्चर तब तक अस्तित्व में है जब तक मनुष्य शराब बनाते और पीते रहे हैं। 71 प्रतिशत अंगूर उत्पादन इस्तेमाल शराब बनाने के लिए होता है।
Manish Koul

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