<p>मंडी के अंतर्गत पड़ते सराज के जंगलों, चारागाहों, घासनियों और बागीचों में प्रतिबंधित दवा की स्प्रे कर घास सुखाकर मटर की फसल बीजने वालों की अब खैर नहीं है। देर से ही सही सराज का प्रशासन अब जाग गया है। एसडीएम सराज ने वन व राजस्व विभाग को ऐसे लोगों की सूची तैयार कर उनके खिलाफ उचित कानूनी कार्रवाई करने के आदेश जारी किए हैं। एसडीएम के इन सख्त आदेशों के बाद सराज की मटर वैल्ट में हड़कंप मच गया है।</p>
<p>राजस्व और वन विभाग के अधिकारी व कर्मचारी फील्ड में जाकर ऐसे लोगों की सूची तैयार कर रहे हैं जिन्होंने पैसा कमाने के लालच में प्रतिबंधित दवा की स्प्रे कर वातावरण को दूषित कर रखा है। तहसीलदार थुनाग और नायब तहसीलदार छतरी को भेजे आदेश में एसडीएम ने साफ लिखा है कि चिऊणी, लंबाथाच, शिल्हीबागी, बागाचुनोगी, कलहणी, रोड आदि पंचायतों में बड़े पैमाने पर प्रतिबंधित दवा की स्प्रे कर घास को सुखाया गया है। इससे इसका जहर नदी नालों में घुलकर लोगों के घरों में पहुंच रहा है जिससे गंभीर बीमारी फैलने का आंदेशा है।</p>
<p>गौरतलब है कि 15 से 20 दिन पहले सराज की मटर वैल्ट में लोगों ने जंगलों, चारागाहों और घासनियों में प्रतिबंधित दवाओं की स्प्रे कर रखी है जिससे घास सूख गई है। यह दवा इतनी जहरीली है कि इसका पानी पीने से मवेशी बीमार हो रहे हैं और उनके अंदर रोग प्रतिरोधक क्षमता क्षीण हो रही है। बरसात के मौसम में जहां पर स्प्रे हुई है वह जगह साफ देखी जा सकती हैं। आजकल सुखाई गई इन जगहों पर मटर बीजाई जोरों पर हो रही है।</p>
<p><span style=”color:#e74c3c”><strong>दवा विक्रेताओं के खिलाफ चुप्पी:</strong></span></p>
<p>एसडीएम सराज ने अपने आदेश में सिर्फ दवा की स्प्रे करने वालों के खिलाफ कार्रवाई करने को कहा है मगर प्रतिबंधित दवा बेचने वालों पर चुप्पी साध रखी है। थुनाग, जंजैहली, थाची, बालीचौकी, छतरी और जरोल की कई दुकानों में धडल्ले से प्रतिबंधित दवा बेची जा रही है।</p>
<p><span style=”color:#c0392b”><strong>गोहर प्रशासन मौन:</strong></span></p>
<p>उपमंडल गोहर के कई स्थानों पर प्रतिबंधित दवा की स्प्रे कर वन संपदा सूखाई गई है। बालीचौकी तहसील की थाची, पंजाई, सोमनाचनी, बागी भनवास और नलबागी पंचायतों के कई स्थानों पर स्प्रे की गई है यहां तकि थाची क्षेत्र के लोगों ने इस बाबत शिकायत भी कर रखी है मगर प्रशासन ने कोई कार्रवाई नहीं कि जो कई सवाल खड़े कर रहा है।</p>
<p><span style=”color:#c0392b”><strong>ग्लाइसिन की स्प्रे से मौत को दावत:</strong></span></p>
<p>जंगल, चारागाह और घासनियों में मटर बीजने के लिए घास सुखाने को इस्तेमाल की जा रही प्रतिबंधित दवा ग्लाइसिन की स्प्रे धीमी मौत है। सराज की मटर वैल्ट के लोग मौत के इस सामान का इस्तेमाल धडल्ले से कर रहे हैं। जाने- अनजाने में लोग पेयजल स्त्रोतों के पास भी घास सुखाने के लिए प्रतिबंधित ग्लाइसिन की स्प्रे कर रहे हैं जो बरसात के पानी में धुलकर पेयजल स्त्रोत तक पहुंच रही है और ग्लाइसिन युक्त यह पानी हमें गंभीर रूप से बीमार कर रहा है। मेडिकल एक्सपर्ट के अनुसार इससे कैंसर होता है जो हमारे शरीर को खोखला कर रहा है। खरपतवार नाशक दवा को बैन किया जा चुका है मगर हैरानी की बात है कि सराज के लोगों को यह दवा आसानी से मिल रही है।</p>
Mandi Literacy Committee: हिमाचल ज्ञान विज्ञान समिति ने शनिवार को शिमला स्थित हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय…
हिमाचल प्रदेश के मंडी जिले में एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है,…
Priyanka Gandhi Wayanad victory: कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी जल्द ही हिमाचल प्रदेश के शिमला पहुंचेंगी।…
First Snowfall at Atal Tunnel: प्रदेश के उच्च पर्वतीय क्षेत्रों में 53 दिनों के लंबे…
Major Indian festivals 2025: साल 2024 अब समाप्ति के करीब है और कुछ ही दिनों…
रविवार का दिन सभी 12 राशियों के लिए मिश्रित परिणाम लेकर आया है। चंद्रमा की…